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केन्द्रीय राज्यमंत्री श्री तोखन साहू ने रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव से मुलाकात कर कटघोरा-डोंगरगढ़ रेलवे परियोजना को शीघ्र स्वीकृति देने का किया अनुरोध

 



आवासन एवं शहरी कार्य राज्य मंत्री श्री तोखन साहू ने रेल मंत्री श्री अश्विनी वैष्णव से मुलाकात कर कटघोरा-डोंगरगढ़ रेलवे लाइन परियोजना को शीघ्र स्वीकृति प्रदान करने का अनुरोध किया।


उन्होंने रेल मंत्री को अवगत कराया कि पूर्व में इस परियोजना को लेकर पत्राचार किया जा चुका है, साथ ही उन्होंने निजी रूप से भी इस विषय पर ध्यान दिलाया है। श्री साहू ने परियोजना में आ रही अड़चनों को दूर करने तथा शीघ्र स्वीकृति की दिशा में आवश्यक पहल करने का आग्रह किया।


श्री साहू ने कहा कि इस रेल परियोजना से एक ओर रेलवे को कोयला एवं अन्य खनिजों के सुगम परिवहन से अतिरिक्त मालभाड़ा राजस्व प्राप्त होगा, वहीं दूसरी ओर छत्तीसगढ़ के एक बड़े क्षेत्र को रेल नेटवर्क से जोड़ने का कार्य होगा, जिससे आम नागरिकों को आवागमन, व्यापार और रोजगार में बड़ी सुविधा मिलेगी।”




उन्होंने विशेष रूप से कटघोरा, कोरबा, कवर्धा और डोंगरगढ़ जैसे क्षेत्रीय केंद्रों की भौगोलिक एवं सामाजिक स्थिति का उल्लेख करते हुए कहा कि यह परियोजना राज्य के संतुलित और समावेशी विकास में सहायक सिद्ध होगी।


श्री तोखन साहू ने आशा व्यक्त की कि रेल मंत्रालय इस परियोजना को प्राथमिकता देते हुए शीघ्र निर्णय करेगा, ताकि छत्तीसगढ़ की जनता को प्रत्यक्ष लाभ मिल सके।



*तोखन साहू ने की रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव से मुलाकात – बिल्हा स्टेशन पर प्रमुख ट्रेनों के ठहराव की मांग*


केन्द्रीय आवासन एवं शहरी कार्य राज्य मंत्री एवं बिलासपुर सांसद श्री तोखन साहू ने आज नई दिल्ली में रेल मंत्री श्री अश्विनी वैष्णव से मुलाकात की। इस दौरान उन्होंने बिलासपुर लोकसभा क्षेत्र अंतर्गत बिल्हा रेलवे स्टेशन पर कई महत्वपूर्ण ट्रेनों के पुनः ठहराव की मांग की।


उन्होंने आग्रह किया कि सारनाथ एक्सप्रेस (15159/60), कुर्ला एक्सप्रेस (12879/80), अंबिकापुर एक्सप्रेस (12855/56), इंटरसिटी सुपरफास्ट, लिंक एक्सप्रेस और शिवनाथ एक्सप्रेस (18239/40) का बिल्हा स्टेशन पर दोनों ओर से ठहराव पुनः प्रारंभ किया जाए। ये सभी ट्रेनें कोविड-19 से पूर्व नियमित रूप से बिल्हा में रुकती थीं।


श्री साहू ने बताया कि बिल्हा एक प्रमुख व्यावसायिक केंद्र है, जहाँ लगभग 50 राइस मिल, 5 पोहा मिल, 15 डोलोमाइट की खदानें और क्रशर, तथा भारतीय खाद्य निगम (FCI) का बड़ा गोदाम स्थित है। इससे रेलवे को उल्लेखनीय राजस्व प्राप्त होता है। ऐसे में स्थानीय जनता और व्यापारिक गतिविधियों को देखते हुए इन ट्रेनों का ठहराव नितांत आवश्यक है।

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